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Hair Cut and Nails Cut

हफ्ते में कुछ ऐसे खास दिन होते है, जब नाख़ून और बाल काटना अशुभ माना जाता है. मगर ये बात बहुत कम लोग जानते है, कि ऐसा न करके उन्हें केवल मान प्रतिष्ठा ही नहीं बल्कि धन की प्राप्ति भी हो सकती है. जी हां आपको जान कर हैरानी होगी कि हफ्ते में हर दिन बाल या नाख़ून काटने का अलग ही महत्व होता है या यूँ कहे कि हर दिन का अलग ही प्रभाव होता है. जहाँ हफ्ते के कुछ दिनों में बाल और नाख़ून काटने से आपको समस्याओ का सामना करना पड़ सकता है, वही कुछ दिन ऐसे भी है जब ये काम करने से आपको यश और धन की प्राप्ति हो सकती है. तो चलिए अब आपको बताते है, कि किन दिनों में ये काम करने से आपको लाभ हो सकता है और किस दिन नुकसान हो सकता है। सबसे पहले अगर सोमवार की बात करे तो इस दिन बाल काटने से आपकी संतान का स्वास्थ्य बिगड़ सकता है और साथ ही इसका प्रभाव उसकी शिक्षा पर भी पड़ेगा. इसके इलावा इस दिन नाख़ून और बाल काटने से आपके स्वास्थ्य और मानसिकता पर भी बुरा असर पड़ता है. इससे आपका मन अप्रसन्न रहेगा. इसलिए इस दिन ये काम न करे. अब सोमवार के बाद अगर मंगलवार की बात करे तो इस दिन बाल या दाढ़ी कटवाने का सीधा असर आपकी उम्र पर पड़ता है. जी

01 March 2021

♦️♦️♦️ ⚜🕉⚜ ♦️♦️♦️     *🙏ॐ श्रीगणेशाय नम:🙏*        *🙏शुभप्रभातम् जी🙏* *इतिहास की मुख्य घटनाओं सहित पञ्चांग-मुख्यांश ..*      *📝आज दिनांक 👉*          *📜 01 मार्च 2021*               *सोमवार*  *🏚नई  दिल्ली अनुसार🏚* *🇮🇳शक सम्वत-* 1942 *🇮🇳विक्रम सम्वत-* 2077 *🇮🇳मास-* फाल्गुन *🌓पक्ष-* कृष्णपक्ष *🗒तिथि-* द्वितीया-08:37 तक *🗒पश्चात्-* तृतीया-29:48 तक *🌠नक्षत्र-* उत्तराफाल्गुनी-07:37 तक *🌠पश्चात्-* हस्त- *💫करण-* गर-08:37 तक *💫पश्चात्-* वणिज *✨योग-* शूल-12:54 तक *✨पश्चात्-* गण्ड *🌅सूर्योदय-* 06:46 *🌄सूर्यास्त-* 18:20 *🌙चन्द्रोदय-* 20:36 *🌛चन्द्रराशि-* कन्या-दिनरात *🌞सूर्यायण -* उत्तरायण *🌞गोल-* दक्षिणगोल *💡अभिजित-* 12:10 से 12:56 *🤖राहुकाल-* 08:13 से 09:40  *🎑ऋतु-* वसन्त *⏳दिशाशूल-* पूर्व *✍विशेष👉* *_🔅आज सोमवार को 👉 फाल्गुन बदी द्वितीया 08:37 तक पश्चात् तृतीया 29:48 तक  , तृतीया तिथि का क्षय , मार्च ई. सन् 2021 प्रारम्भ , विघ्नकारक भद्रा 19:12 से 29:47 तक , संत गाडगे महाराज जयन्ती ( तिथि अनुसार ) , मुक्केबाज मैरीकॉम का जन्म दिवस , श्री वसन्तदादा पाटिल स्मृति दि

25 Feb 2021

♦️♦️♦️ ⚜🕉⚜ ♦️♦️♦️     *🙏ॐ श्रीगणेशाय नम:🙏*        *🙏शुभप्रभातम् जी🙏* *इतिहास की मुख्य घटनाओं सहित पञ्चांग-मुख्यांश ..*      *📝आज दिनांक 👉*          *📜 25 फरवरी 2021*             *बृहस्पतिवार*  *🏚नई  दिल्ली अनुसार🏚* *🇮🇳शक सम्वत-* 1942 *🇮🇳विक्रम सम्वत-* 2077 *🇮🇳मास-* माघ *🌓पक्ष-* शुक्लपक्ष *🗒तिथि-* त्रयोदशी-17:20 तक *🗒पश्चात्-* चतुर्दशी *🌠नक्षत्र-* पुष्य-13:17 तक *🌠पश्चात्-* आश्लेषा *💫करण-* तैतिल-17:20 तक *💫पश्चात्-* गर *✨योग-* शोभन-25:07 तक *✨पश्चात्-* गर *🌅सूर्योदय-* 06:50 *🌄सूर्यास्त-* 18:18 *🌙चन्द्रोदय-* 16:15 *🌛चन्द्रराशि-* कर्क-दिनरात *🌞सूर्यायण -* उत्तरायण *🌞गोल-* दक्षिणगोल *💡अभिजित-* 12:11 से 12:57 *🤖राहुकाल-* 14:00 से 15:26 *🎑ऋतु-* वसन्त *⏳दिशाशूल-* दक्षिण *✍विशेष👉* *_🔅आज बृहस्पतिवार को 👉 माघ सुदी त्रयोदशी 17:20 तक पश्चात् चतुर्दशी शुरु , कल्पादि 13 , सर्वार्थसिद्धियोग / कार्यसिद्धियोग / अमृतसिद्धियोग / गुरु पुष्य योग सूर्योदय से 13:17 तक , सर्वदोषनाशक रवि योग 13:17 से , मूल संज्ञक नक्षत्र 13:17 से , रत्नत्रय व्रतारम्भ ( जैन ) , श्री धर्मनाथ जी

14 Feb 2021

♦️♦️♦️ ⚜🕉⚜ ♦️♦️♦️     *🙏ॐ श्रीगणेशाय नम:🙏*        *🙏शुभप्रभातम् जी🙏* *इतिहास की मुख्य घटनाओं सहित पञ्चांग-मुख्यांश ..*      *📝आज दिनांक 👉*          *📜 14 फरवरी 2021*               *रविवार*  *🏚नई  दिल्ली अनुसार🏚* *🇮🇳शक सम्वत-* 1942 *🇮🇳विक्रम सम्वत-* 2077 *🇮🇳मास-* माघ *🌓पक्ष-* शुक्लपक्ष *🗒तिथि-* तृतीया-26:01 तक *🗒पश्चात्-* चतुर्थी *🌠नक्षत्र-* पूर्वभाद्रपद-16:33 तक *🌠पश्चात्-* उत्तरभाद्रपद *💫करण-* तैतिल-13:25 तक *💫पश्चात्-* गर *✨योग-* सिद्ध-25:11 तक *✨पश्चात्-* साध्य *🌅सूर्योदय-* 07:00 *🌄सूर्यास्त-* 18:10 *🌙चन्द्रोदय-* 08:43  *🌛चन्द्रराशि-* कुम्भ-10:09 तक *🌛पश्चात्-* मीन *🌞सूर्यायण -* उत्तरायण *🌞गोल-* दक्षिणगोल *💡अभिजित-* 12:13 से 12:57 *🤖राहुकाल-* 16:46 से 18:10 *🎑ऋतु-* शिशिर  *❄️अवधि-* सर्दियों का मौसम *⏳दिशाशूल-* पश्चिम *✍विशेष👉* *_🔅आज रविवार को 👉 माघ सुदी तृतीया 26:01 तक पश्चात् चतुर्थी शुरु , गौरी तृतीया व्रत , बुध (वक्री )पूर्व में उदय 16:46 पर , गुरू पूर्व में उदय 23:46 पर ( मतभेद ) , शनि पूर्व में उदय 24:45 पर , सर्वार्थसिद्धियोग / कार्यसिद्धियो

08 Feb 2021

♦️♦️♦️ ⚜🕉⚜ ♦️♦️♦️     *🙏ॐ श्रीगणेशाय नम:🙏*        *🙏शुभप्रभातम् जी🙏* *इतिहास की मुख्य घटनाओं सहित पञ्चांग-मुख्यांश ..*      *📝आज दिनांक 👉*          *📜 08 फरवरी 2021*               *सोमवार*  *🏚नई  दिल्ली अनुसार🏚* *🇮🇳शक सम्वत-* 1942 *🇮🇳विक्रम सम्वत-* 2077 *🇮🇳मास-* माघ *🌓पक्ष-* कृष्णपक्ष *🗒तिथि-* द्वादशी-27:21 तक *🗒पश्चात्-* त्रयोदशी *🌠नक्षत्र-* मूल-15:21 तक *🌠पश्चात्-* पूर्वाषाढ़ा *💫करण-* कौलव-16:04 तक *💫पश्चात्-* तैतिल *✨योग-* हर्शण-11:30 तक *✨पश्चात्-* वज्र *🌅सूर्योदय-* 07:05 *🌄सूर्यास्त-* 18:05 *🌙चन्द्रोदय-* 29:11 *🌛चन्द्रराशि-* धनु-दिनरात *🌞सूर्यायण -* उत्तरायण *🌞गोल-* दक्षिणगोल *💡अभिजित-* 12:13 से 12:57 *🤖राहुकाल-* 08:27 से 09:50 *🎑ऋतु-* शिशिर  *❄️अवधि-* सर्दियों का मौसम *⏳दिशाशूल-* पूर्व *✍विशेष👉* *_🔅आज सोमवार को 👉 माघ बदी द्वादशी 27:21 तक पश्चात् त्रयोदशी शुरु , षटतिला एकादशी व्रत ( वैष्णव / साधु संन्यासी आदि ) , तिल द्वादशी , मूल संज्ञक नक्षत्र 15:21 तक , शुक्र पूर्व में अस्त 18:11 पर ( पंचांगभेद , माघ शुक्ल तृतीया का भी वर्णन ) , श्री शीतलनाथ जय

28 Jan 2021

♦️♦️♦️ ⚜🕉⚜ ♦️♦️♦️     *🙏ॐ श्रीगणेशाय नम:🙏*        *🙏शुभप्रभातम् जी🙏* *इतिहास की मुख्य घटनाओं सहित पञ्चांग-मुख्यांश ..*      *📝आज दिनांक 👉*          *📜 28 जनवरी 2021*           *बृहस्पतिवार*  *🏚नई  दिल्ली अनुसार🏚* *🇮🇳शक सम्वत-* 1942 *🇮🇳विक्रम सम्वत-* 2077 *🇮🇳मास-* पौष *🌓पक्ष-* शुक्लपक्ष *🗒तिथि-* पूर्णिमा-24:47 तक *🗒पश्चात्-* प्रतिपदा *🌠नक्षत्र-* पुष्य-27:50 तक *🌠पश्चात्-* आश्लेषा *💫करण-* विष्टि-13:07 तक *💫पश्चात्-* बव. *✨योग-* प्रीति-19:23 तक *✨पश्चात्-* आयुष्मान *🌅सूर्योदय-* 07:11 *🌄सूर्यास्त-* 17:56 *🌙चन्द्रोदय-* 17:30 *🌛चन्द्रराशि-* कर्क-दिनरात *🌞सूर्यायण -* उत्तरायण *🌞गोल-* दक्षिणगोल *💡अभिजित-* 12:12 से 12:55 *🤖राहुकाल-* 13:54 से 15:15 *🎑ऋतु-* शिशिर  *❄️अवधि-* सर्दियों का मौसम *⏳दिशाशूल-* दक्षिण *✍विशेष👉* *_🔅आज बृहस्पतिवार को 👉 पौष सुदी पूर्णिमा 24:47 तक पश्चात् प्रतिपदा शुरु , स्नान - दान - व्रतादि की पुष्य नक्षत्रयुता पौषी पूर्णिमा ( परम पुण्यकाल सूर्योदय से सूर्यास्त तक ) , पौष पूर्णिमा व्रत - पुण्यादि , श्री सत्यनारायण व्रत , श्री शाकम्भरी देवी

*मै न होता, तो क्या होता ?*

*सुंदरकांड में एक प्रसंग अवश्य पढ़ें !* *“मैं न होता, तो क्या होता?”* “अशोक वाटिका" में जिस समय रावण क्रोध में भरकर, तलवार लेकर, सीता माँ को मारने के लिए दौड़ पड़ा, तब हनुमान जी को लगा, कि इसकी तलवार छीन कर, इसका सर काट लेना चाहिये! किन्तु, अगले ही क्षण, उन्हों ने देखा "मंदोदरी" ने रावण का हाथ पकड़ लिया !  यह देखकर वे गदगद हो गये! वे सोचने लगे, यदि मैं आगे बड़ता तो मुझे भ्रम हो जाता कि यदि मै न होता, तो सीता जी को कौन बचाता? बहुधा हमको ऐसा ही भ्रम हो जाता है, मैं न होता, तो क्या होता ?  परन्तु ये क्या हुआ? सीताजी को बचाने का कार्य प्रभु ने रावण की पत्नी को ही सौंप दिया! तब हनुमान जी समझ गये, कि प्रभु जिससे जो कार्य लेना चाहते हैं, वह उसी से लेते हैं! आगे चलकर जब "त्रिजटा" ने कहा कि "लंका में बंदर आया हुआ है, और वह लंका जलायेगा!" तो हनुमान जी बड़ी चिंता मे पड़ गये, कि प्रभु ने तो लंका जलाने के लिए कहा ही नहीं है, और त्रिजटा कह रही है कि उन्होंने स्वप्न में देखा है, एक वानर ने लंका जलाई है! अब उन्हें क्या करना चाहिए? *जो प्रभु इच्छा!* जब रावण के सैनिक तल